राजस्थान प्रतापगढ़ जिले के बारे में जानकारी | Rajasthan Pratapgarh GK General Knowledge in Hindi

नमस्कार दोस्तों राजस्थान के 33 जिलों में प्रतापगढ़ जिले का अपना इतिहास है,अपनी भौगोलिक स्थिति है। अक्सर राजस्थान में होने वाली किसी भी जरूरी परीक्षाओं में इस जिले से सामान्य ज्ञान के एक दो प्र्शन जरूर पूछे जाते हैं। इसलिए में GK Pustak के इस भाग में राजस्थान के प्रतापगढ़ जिले के सामान्य ज्ञान की बहुत जरूरी जानकारी लाया हूँ ये राजस्थान में होने वाली परीक्षाओं के लिहाज से बहुत जरूरी भाग है।



Pratapgarh GK | राजस्थान प्रतापगढ़ जिले के बारे में जानकारी 




राजस्थान के प्रतापगढ़ का इतिहास या इतिहासक विवरण | Pratapgarh District History GK

आजादी के बाद के राजस्थान की बात करें तो आज राजस्थान में कुल 33 जिले हैं और इनमे प्रतापगढ़ जिला राजस्थान का 33 वाँ जिला जिले के रूप मर्डर सामने आया। इसे जिले के रूप में 26 जनवरी 2008 को मान्यता मिली। इससे पहले ये एक उदयपुर जिले के ही उदयपुर डिवीजन का एक हिस्सा था। इसका निर्माण चित्तौड़गढ़, उदयपुर और बांसवाड़ा जिलों की तहसीलों से किया गया है। इस वक्त प्रतापगढ़ ही प्रतापगढ़ का मुख्यालय है।


अगर प्रतापगढ़ के इतिहास की जानकारी करें तो प्रतापगढ़ पर लगभग आठ सौ सालों तक सिसोदिया वंश के शासकों ने राज किया । राजकुमार सूरजमल इसी वंश का शासक था। वह क्षेमकरण का पुत्र था।.उसने देवगढ़ में 1514 ई में अपना प्रभुत्व जमाया। यहां के राजा प्रतापसिंह ने 1699 ई. में देवगढ़ के समीप प्रतापगढ़ कस्‍बे की स्‍थापना की थी। प्रताप सिंघ के नाम पर ही इसका नाम प्रतापगढ़ पड़ा। सबसे पहले प्रतापगढ़ देवगढ़ की राजधानी थी।

 



राजस्थान प्रतापगढ़ जिले की भौगोलिक स्थिति | Pratapgarh District Geography GK




राजस्थान का प्रतापगढ़ जिला की स्थिति 24.03 ° N अक्षांश और 74.78 ° E दिशांतर पर है। यह किला समुंदर तल से 580 मीटर (समुद्र तल से 1610 फीट ऊपर) की औसत ऊंचाई के साथ स्थित राजस्थान जिले का माउंटआबू राजस्थान में सबसे ऊँचा जिला है इसके बाद प्रतापगढ़ जिले का दस्ता स्थान है।यह जिला अरावली पर्वत की शृंखलों और मालवा के पठार से मिलकर अपनी अलग ही पहचान बनता है और भौगोलिक विशेसतायें प्रकट करता है।



प्रतापगढ़ का भौगोलिक क्षेत्रफल 4,11,736 हेक्टेयर है। जिसमें से वन क्षेत्र 1,20,976 हेक्टेयर के लगभग है। राजस्थान का प्रतापगढ़ चित्तौड़गढ़ जिले में राजस्थान के दक्षिण-पूर्वी भाग में स्थित है। यह क्षेत्र राजस्थान के उदयपुर, बांसवाड़ा और चित्तौड़गढ़ जिलों के साथ लगता है। और भारत के मध्य प्रदेश राज्य के रतलाम, मंदसौर और नीमच जिलों से जुड़ता है।





राजस्थान के प्रतापगढ़ जिले का प्रशासनिक ढांचा (Administrative Structure of Pratapgarh)

प्रतापगढ़ जिले का कुल क्षेत्रफल – 4117.65 वर्ग किलोमीटर

उपखण्‍डों की संख्‍या – 5 (अरनोद, छोटी सदरी, धरियावद, पीपल खोत और प्रतापगढ़।)

तहसीलों की संख्‍या – 5 (प्रतापगढ़, अरनोद, छोटी सादड़ी, धरियावाद एवं पीपलखूंट)

पंचायत समितियों की संख्‍या – 5 पांच

प्रतापगढ़ के क्षेत्र को काँठल प्रदेश के नाम से जाना जाता है।


प्रतापगढ़ के क्षेत्र के विधान सभा क्षेत्र की संख्या - 2

विधान सभा के नाम - 1. प्रतापगढ़, 2. धरिवाद

अरनोद तहसील में गांवों की संख्या - 178

चोती साड़ी तहसील में गांवों की संख्या - 141

दरियावद तहसील में गांवों की संख्या --- 249

पीपल खोत तहसील में गांवों की संख्या - 23

प्रतापगढ़ तहसील में गाँव की संख्या - 330


प्रतापगढ़ जिले के प्रमुख गांवों में कुलथाना, अवलेश्वर, राजोरा, कुन्नी, हथुनिया, प्रतापपुरा, मटकपुरा, मटकुरा, शामिल हैं। दलोत, घांटोली,बसाड़, वर्मण्डल, बजरंगगढ़, सोहागपुर, रामपुरिया, चिकलवास, ग्यारसपुर, बरवाड़ा, बरडिया, थडा, पानमोडी, धमोतर, कुलमी पुरा, सिढ़पुरा, रथ जाना, धौला पाणि, देवगढ़, सालमगढ़, परसोला, घेंटली, अरनोद, गांधार, असल सटा, झाँसाड़ी, गौतमेश्वर, पीपल खोतल, राजपुरिया, बम्बोरी और बागवास और खेरकोट, बड़ौत हैं।


राजस्थान के प्रतापगढ़ की जनसांख्यिकी का सामान्य ज्ञान (2011)

  • प्रतापगढ़ जिले की कुल जनसंख्या— 8,67,848 राजस्थान की जनसँख्या का 1.27 %

  • पुरुष जनसंख्या - 4,37,744
  • स्त्री जनसंख्या - 4,30,104
  • लिंगनुपात - 983
  • जनसंख्या घनत्व — 195
  • कुल साक्षरता दर— 56%
  • पुरुष साक्षरता दर -- 69.5%
  • महिला साक्षरता— 42.4%
  • प्रतापगढ़ की Urban जनसंख्या - 8. 3 %
  • अनुसूचित जाति की % -- 6.9 %
  • अनुसूचित जनजाति की % -- 63. 9 %


प्रतापगढ़ की प्रमुख नदियों का सामान्य ज्ञान 


जाखम नदी ( Jakhm River)


जाखम नदी का उद्गम स्थान प्रतापगढ़ के छोटी सादड़ी में स्थित भंवर माता की पहाड़ियों से होता है। राजस्थान का सबसे ऊँचा बाँध इसी नदी पर है जो 81 मीटर ऊँचा है। इस बांध का नम्म अनूपपुरा) है। यह नदी धरियावद में सोम नदी के साथ विलीन हो जाती है। ऐराव नदी, सुकली, भैरवी नदी, माही नदी इन सभी का उदगम प्रतापगढ़ की पहाडिय़ों से होता है।



प्रतापगढ़ जिले के मंदिर और ऐतिहासिक स्थानों का सामान्य ज्ञान 


1) :- केशवराय मंदिर(Keshrai Mandir)

इस मंदिर में भगवान् केशवराय की मूर्ति लगी हुई है और एकादशी एवं विजयादशमी को भगवान केशवराय की विशाल रथयात्रा का आयोजन होता है। ये प्रतापगढ़ के लोगों के लिए आस्था का प्रतीक माना जाता है।


2) :- श्री बामोतर तीर्थ

यह मंदिर हिन्दू और जैन धर्म की आस्था का प्रतीक है ये मंदिर प्रतापगढ़ में ही में स्थित है।


3) :- सोली में महाकाल का मंदिर

यह मंदिर प्रतापगढ़ के सोली नामक स्थान पर स्थित है। इस मंदिर के साथ हनुमान जी का मंदिर भी है।


4- काकाजी की दरगाह

प्रतापगढ़ में काकाजी की दरगाह है इस दरगाह को काँठल की दरगाह भी कहा जाता है।


5) :- शंखेश्वर पार्श्‍वनाथ

प्रतापगढ़ का यह मंदिर मेवाड़-मालवा के पंचतीर्थों में से आदित्य स्थान रखता है। प्राचीन कथा के अनुसार सैकड़ों वर्षों पूर्व आकाश मार्ग से उड़ाकर यह तीर्थ ले जाया जा रहा था तब प्रतापगढ़ में विराजमान यतिमहाराज ने तांत्रिक शक्ति से इस मंदिर को नगर के तालाब के समीप स्थापित किया।

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Rakesh Kumar

दो Blogs Gkpustak सामान्य ज्ञान के लिए और Grammarpustak अंग्रेजी ग्रामर का हिंदी में जानकारी हासिल करवाना।

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